बच्चो में सिरदर्द की समस्या। Headache in Children in Hindi
जनवरी 29, 2020 Brain Diseases 8621 ViewsHeadache in Children Meaning in Hindi
बच्चो में खेल-खुद करने के दौरान छोटी मोटी चोट लगना लाजमी है। लेकिन बच्चो का अचानक से सिरदर्द होना किसी गंभीर समस्या का कारण बन सकता है। इसके अलावा कुछ बच्चो में सिरदर्द की समस्या अधिक मोबाईल देखने से होता है। वैसे सिरदर्द की समस्या होने के अनेको कारण हो सकते है। माइग्रेन केवल बड़ो को नहीं होता है बल्कि आजकल बच्चे भी माइग्रेन से ग्रस्त हो रहे है। हालांकि बच्चो में सिरदर्द होने पर उनके व्यवहार में काफी बदलाव आने लगते है जैसे बहुत रोना, चिलाना व चिड़चिड़ापन आदि। सिरदर्द होने से बच्चे ठीक से पढ़ाई नहीं कर पाते है। इसके अलावा बच्चो को सोने में असमर्थ हो जाते है। सिरदर्द के कारण बच्चो को अनेको कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है। बच्चे की सिरदर्द की समस्या को नजरअंदाज न करके चिकिस्तक से संपर्क करना चाहिए। चलिए इस लेख में आपको बच्चो में सिरदर्द से होने वाली परेशानियों के बारे में विस्तार से बताने वाले है।
- बच्चे में सिरदर्द के प्रकार ? (Types of Headache in Children in Hindi)
- बच्चो में सिरदर्द होने के कारण क्या है ? (Baccho me Sir Dard Hone Ke Karan Kya Hai in Hindi)
- बच्चे में सिरदर्द के लक्षण क्या है ? (Baccho me Sir Dard Hone Ke Laksan Kya Hai in Hindi)
- बच्चे में सिरदर्द का इलाज क्या है ? (Baccho me Sir Dard Hone Ka Ilaj Kya Hai in Hindi)
- बच्चो में सिरदर्द से बचाव कैसे करें ? (Baccho me Sir Dard Hone se Bachaw Kaise Kare in Hindi)
बच्चे में सिरदर्द के प्रकार ? (Types of Headache in Children in Hindi)
बच्चो में सिरदर्द को मुख्य रूप से चार भागो में बाटा गया है। लेकिन इसका उपचार चिकिस्तक अलग अलग तरह से किया जाता है। बच्चे के सिर के दर्द का सटीक पता लगाने के लिए उपचार करते है।
- बच्चो को अधिक सिरदर्द माइग्रेन के कारण होता है। इसमें बच्चे के आधे सिर में दर्द होता है। माइग्रेन तनाव व नींद की कमी के वजह से होता है। इसमें बच्चो को उल्टी व चक्कर आने संभावना रहती है।
- बहुत से बच्चो को तनाव होने से सिरदर्द होने लगता है, यह तनाव किसी भी कारण जैसे पारिवारिक शिक्षा खेलकूद से जुड़ा हो सकता है। ऐसे तनाव को चिकिस्तक उपचार कर ठीक करने का प्रयास करते है।
- कुछ बच्चो में रोजाना सिरदर्द की समस्या होती रहती है इस दर्द को चिकिस्तक भाषा में क्रोनिक दर्द कहते है। इसमें दवाओं के लंबे सेवन या संक्रमण, चोट के कारण सिरदर्द होता है।
- क्लस्टर दर्द अक्सर दस साल से अधिक आयु वाले बच्चो में होता है। यह समस्या लगातार नहीं होती है बल्कि थोड़े थोड़े समय में दर्द होता है।
बच्चो में सिरदर्द होने के कारण क्या है ? (Baccho me Sir Dard Hone Ke Karan Kya Hai in Hindi)
बच्चो में सिरदर्द होने के अनेको कारण हो सकते है।
- सिर में चोट लगने के कारण दर्द की समस्या बढ़ जाती है। हालांकि हल्की चोट लगने पर कुछ दिनों तक दर्द बना रहता है। अगर बच्चा पिसल कर गिर गया हो तो बच्चे को सिर में अधिक चोट लग जाती है। ऐसे मामले में बच्चो को चिकिस्तक के पास ले जाये। ताकि सिर में कोई जटिलता न उत्पन्न हो।
- सामान्य सर्दी व जुखाम या संक्रमण होने से सिरदर्द होने लगता है। कुछ बच्चो में साइनस के कारण रह रह कर सिरदर्द होता है।
- कई मामलो में बच्चो को माइग्रेन की समस्या अनुवांशिक होने कारण होती है। माता-पिता के बोलने या डाटने पर बच्चे बुरा मान लेते है जिसके कारण वह भावनाओं में चले जाते है और तनाव व चिंता में रहकर सिरदर्द की समस्या को बढ़ा देते है। (और पढ़े – आटिज्म क्या है)
- बच्चो कभी कभी कुछ गलत खानपान कर लेते है जिसके कारण उनके सिरदर्द की समस्या शुरू हो जाती है। इसके अलावा डिब्बे बंद पदार्थ जैसे चॉकलेट, कोल्ड्रिंक, चाय काफी आदि होता है।
- कुछ बच्चो के ब्रेन में ट्यूमर, फोड़ा व मस्तिष्क में रक्तश्राव जैसे दुर्लभ कारण गंभीर सिरदर्द की समस्या होने लगता है। इसके अलावा कुछ लक्षण सिर चकराना, दृस्टि कमजोर होना आदि। (और पढ़े – आंखो की चमक बढ़ाने के घरेलु उपचार)
बच्चे में सिरदर्द के लक्षण क्या है ? (Baccho me Sir Dard Hone Ke Laksan Kya Hai in Hindi)
बच्चो में सिरदर्द के निम्नलिखित लक्षण है।
- पसीना आने लगना।
- रोशनी के प्रति संवेदनशीलता।
- आवाज तेज न सुन पाना।
- वस्तुए साफ से दिखाई न देना।
- उल्टी व मलती आना।
- तनाव आना।
- तनाव के कारण कुछ लक्षण नजर आना
- पेरो में कमजोरी आना।
- छोटे बच्चो के सिरदर्द होना।
- खांसने या छींकने पर सिरदर्द होना।
- नींद से जगाने पर सिरदर्द होना।
- बच्चो के व्यवहार में बदलाव।
- मिर्गी के दौरे पड़ना। (और पढ़े – मिर्गी के कारण क्या है)
बच्चे में सिरदर्द का इलाज क्या है ? (Baccho me Sir Dard Hone Ka Ilaj Kya Hai in Hindi)
बच्चो में सिरदर्द की समस्या होने पर चिकिस्तक कुछ दर्द निवारक दवाएं लेने की सलाह देते है। इसके कुछ मामलो में थेरेपी के माध्यम से सिरदर्द को कम किया जाता है। बच्चो में माइग्रेन की समस्या है तो चिकिस्तक कुछ दवाएं दे कर उपचार करते है। लेकिन बच्चे के लिए कोई भी दवा खुद से न ले बल्कि चिकिस्तक द्वारा सुझाव दिए गए दवाओं को ले। बच्चो को फ्लू या चिकनगुनिया से पीड़ित है तो ऐसे में उपचार तुरंत करना जरुरी होता है।
बच्चो में सिरदर्द से बचाव कैसे करें ? (Baccho me Sir Dard Hone se Bachaw Kaise Kare in Hindi)
बच्चो को सिरदर्द होने पर बचाव करने के लिए अधिक आराम देने की जरूरत होती है। इसके अलावा कुछ अन्य उपाय अपनाकर सिरदर्द से राहत पहुंचाते है।
- बच्चो को पूरी नींद करवाना चाहिए ताकि नींद की कमी से सिरदर्द न हो सके।
- पानी की कमी को पूरा करने के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी बच्चो को पिलाये।
- अगर आपके सोने में घबराते है या डरावने सपने के डर से नींद पूरी नहीं होती है तो बच्चो को सुबह थोड़ी व्यायाम करवाए।
- अगर बच्चे को माइग्रेन की समस्या है तो उसके आसपास जितना हो सके शांति बनाकर रखे। (और पढ़े – माइग्रेन के कारण क्या है)
- बच्चो के सिरदर्द में बर्फ से सेकाई करने पर सिरदर्द से आराम मिलता है।
- अगर बच्चे को तेज आवाज यानि टीवी की आवाज, चमकदार रौशनी, शारीरिक तनाव सिरदर्द की समस्या बढ़ाता है तो इन सब से बच्चे को दूर रखे।
अगर बच्चो मे किसी तरह की समस्या हो रही है तो आपको किसी अच्छे पीडियाट्रिक चिकिस्तक (Pediatric) से संपर्क करना चाहिए।
हमारा उद्देश्य आपको रोगो के प्रति जानकारी देना है हम आपको किसी तरह के दवा, उपचार, सर्जरी की सलाह नहीं देते है। आपको अच्छी सलाह केवल एक चिकिस्तक दे सकता है क्योंकि उनसे अच्छा दूसरा नहीं होता है।